📍नई दिल्ली | 13 Jan, 2025, 4:08 PM
Army Chief: सेना प्रमुख जनरल उपेंद्र द्विवेदी ने भारत-चीन सीमा पर तनाव को लेकर कहा है कि वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) पर स्थिति “संवेदनशील लेकिन स्थिर” बनी हुई है। उन्होंने यह भी बताया कि पूर्वी लद्दाख के देपसांग और डेमचोक क्षेत्रों में पारंपरिक गश्त और चरागाह का काम सामान्य रूप से जारी है।
सेना प्रमुख ने कहा, “हमारी तैनाती संतुलित और मजबूत है। हम किसी भी स्थिति को संभालने में पूरी तरह सक्षम हैं।” एलएसी के भविष्य पर चर्चा करते हुए जनरल द्विवेदी ने कहा कि वर्तमान में सीमा पर बुनियादी ढांचे को मजबूत करने और कैपेसिटी बिल्डिंग पर फोकस किया जा रहा है।
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15 सितंबर को मनाए जाने वाले आर्मी डे पर आयोजित सेना की सालाना प्रेस कॉन्फ्रेंस में आर्मी चीफ जनरल उपेंद्र द्विवेदी ने कहा कि सभी कोर कमांडर्स को यह निर्देश दिए गए हैं कि वे गश्त और चरागाह से जुड़े छोटे मुद्दों को जमीनी स्तर पर ही हल करें। उन्होंने कहा, “हमारी तैनाती संतुलित और मजबूत है। हम किसी भी स्थिति से निपटने के लिए पूरी तरह से तैयार हैं। उत्तरी सीमा पर क्षमता विकास और युद्ध प्रणाली में नवीनतम तकनीक को शामिल करने पर हमारा ध्यान केंद्रित है।” उन्होंने यह भी कहा कि सुरक्षा बल स्थानीय मुद्दों को हल करने और सीमावर्ती इलाकों में स्थिरता सुनिश्चित करने के लिए तत्पर हैं।
जम्मू-कश्मीर: सीमा पार आतंकवाद जारी
जम्मू-कश्मीर की स्थिति पर चर्चा करते हुए जनरल द्विवेदी ने कहा कि केंद्र शासित प्रदेश में हालात नियंत्रण में हैं, लेकिन सीमा पार से घुसपैठ की कोशिशें अब भी जारी हैं। उन्होंने बताया, “पाकिस्तान के साथ नियंत्रण रेखा (एलओसी) पर सीजफायर समझौता बना हुआ है, लेकिन घुसपैठ की कोशिशें जारी हैं।”
सेना प्रमुख ने यह भी कहा कि पाकिस्तान में आतंकी ढांचे अब भी सक्रिय हैं और पड़ोसी देश सीमा पार आतंकवाद को समर्थन दे रहा है। उन्होंने बताया, “पिछले साल जम्मू-कश्मीर में मारे गए 60 फीसदी आतंकवादी पाकिस्तान से थे।”
मणिपुर में स्थिति नियंत्रण में
मणिपुर में हिंसा पर चर्चा करते हुए जनरल द्विवेदी ने कहा कि सरकार और सुरक्षा बलों के समन्वित प्रयासों से राज्य में स्थिति नियंत्रण में है। उन्होंने कहा, “सुरक्षा बलों के समन्वित प्रयासों और सरकार की सक्रिय पहल से मणिपुर में हालात पर काबू पा लिया गया है।”
हालांकि, उन्होंने यह भी कहा कि राज्य में हिंसा की घटनाएं समय-समय पर सामने आ रही हैं। सेना इन परिस्थितियों में शांति स्थापित करने की कोशिश कर रही है। जनरल द्विवेदी ने बताया, “मणिपुर में हिंसा की घटनाएं साइक्लिक फॉर्म से हो रही हैं, लेकिन सुरक्षा बल शांति बहाल करने के लिए काम कर रहे हैं। म्यांमार सीमा पर निगरानी बढ़ाई गई है और सीमा पर बाड़ लगाने का काम जारी है।”
सीमा पर टेक्नोलॉजी का बढ़ता उपयोग
सेना प्रमुख ने यह भी उल्लेख किया कि उत्तरी सीमा पर अत्याधुनिक प्रौद्योगिकी को शामिल करने से भारत की युद्धक क्षमताओं में सुधार हो रहा है। उन्होंने कहा, “नवीनतम तकनीकों को युद्धक प्रणाली में शामिल कर उत्तरी सीमा पर क्षमता निर्माण पर ध्यान केंद्रित किया गया है।”
एलएसी पर स्थिति पर सेना प्रमुख के ये बयान उस समय आए हैं, जब भारत और चीन के बीच सैन्य और कूटनीतिक स्तर पर बातचीत के प्रयास जारी हैं।