📍नई दिल्ली | 2 months ago
Aero India 2025: 10 फरवरी से बेंगलुरु में शुरू होने जा रहा ‘एयरो इंडिया 2025’ शो इस बार कई मायनों में एतिहासिक होने वाला है। इस शो का सबसे बड़ा आकर्षण भारतीय वायुसेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल एपी सिंह और थल सेना प्रमुख जनरल उपेंद्र द्विवेदी का स्वदेशी लड़ाकू विमान तेजस में एक साथ 45 मिनट की उड़ान भरना होगा। यह पहली बार होगा जब दोनों सेनाओं के प्रमुख एक ही विमान में उड़ान भरते नजर आएंगे।
Aero India 2025: सेना प्रमुख के कोर्समेट हैं एयरफोर्स चीफ
सेना प्रमुख जनरल उपेंद्र द्विवेदी ने एक कार्यक्रम के दौरान बताया था कि वायुसेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल एपी सिंह ने उनसे वादा किया है कि जब वे तेजस फाइटर जेट को फ्लाई करेंगे, तो उन्हें भी अपने साथ उड़ान भरने का मौका देंगे। सेना प्रमुख ने खुलासा किया था कि वायुसेना प्रमुख एपी सिंह उनके कोर्समेट रह चुके हैं।
9 फरवरी को हो सकती है उड़ान
वहीं एयर चीफ अपना ये वादा एयरो इंडिया 2025 में पूरा करने वाले हैं। बेंगलुरु के येलहंका एयरफोर्स स्टेशन पर 10 फरवरी से एशिया का सबसे बड़े एयर शो, एयरो इंडिया 2025 शुरू होने वाला है। हालांकि भारतीय वायुसेना और थल सेना के प्रमुखों की ये उड़ान 9 फरवरी को हो सकती है। एयरफोर्स सूत्रों के मुताबिक यह पहली बार होगा जब दोनों सेनाओं के प्रमुख एक ही जहाज में सवार होकर देश की सैन्य ताकत और आत्मनिर्भरता का प्रदर्शन करेंगे।
Aero India 2025: पहली बार एक साथ बैठेंगे दो टॉप अफसर
एयरफोर्स सूत्रों के मुताबिक आमतौर पर सुरक्षा वजहों से दो प्रमुख शीर्ष अधिकारी एक ही विमान में एक साथ उड़ान नहीं भरते हैं। लेकिन पहली बार ऐसे होने जा रहा है। सूत्रों ने बताया कि भारतीय वायुसेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल एपी सिंह और थल सेना प्रमुख जनरल उपेंद्र द्विवेदी, तेजस के एक ट्रेनर वर्जन में 45 मिनट की उड़ान भरेंगे। इस दौरान एयर चीफ मार्शल सिंह विमान को उड़ाएंगे और जनरल द्विवेदी को-पायलट की सीट पर रहेंगे।
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प्रधानमंत्री मोदी और रक्षामंत्री भी बैठ चुके हैं तेजस में
यह पहली बार नहीं है जब देश के शीर्ष नेतृत्व ने तेजस में उड़ान भरी हो। 25 नवंबर 2023 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने तेजस में 30 मिनट की उड़ान भर कर सबको चौंका दिया था। इससे पहले, 2019 में रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने भी तेजस में उड़ान भरी थी।
पहली बार तीन वाइस चीफ ने एक साथ भरी थी उड़ान
इसके अलावा तरंग शक्ति 2024 में तेजस ने राफेल, F-16 और यूरोफाइटर जैसे विमानों के साथ मुकाबला किया था, जिसमें कई देशों के सेना प्रमुखों ने तेजस में गहरी रुचि दिखाई थी। फ्रांस, जर्मनी और स्पेन के वायुसेना प्रमुखों ने भी तेजस में उड़ान भरकर इसकी क्षमताओं को सराहा था। उस दौरान पहली बार ही भारतीय सेनाओं के तीनों अंगों के उप प्रमुखों ने भी तेजस की उड़ान भरी थी। उस दौरान एयर चीफ मार्शल एपी सिंह वायुसेना के वाइस चीफ थे और उन्होंने उस फॉर्मेशन को लीड किया था।
Aero India 2025: तेजस के फिलहाल दो स्क्वाड्रन
तेजस को भारत में ही बनाया गया है और यह पूरी तरह से स्वदेशी तकनीक पर आधारित है। इसे DRDO की एरोनॉटिकल डेवलपमेंट एजेंसी (ADA) ने डिजाइन किया है और हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (HAL) इसका निर्माण कर रही है। तेजस 4.5 जेनेरेशन का मल्टी-रोल कॉम्बैट एयरक्राफ्ट है। इसकी अधिकतम रफ्तार 1.8 मैक यानी 2220 किलोमीटर प्रति घंटे तक जाती है और यह 50,000 फीट की ऊंचाई तक उड़ान भर सकता है। इसकी कॉम्बैट रेंज 739 किलोमीटर है। हवा में ही ईंधन भरने की क्षमता के कारण इसकी रेंज लगभग 3000 किलोमीटर तक बढ़ाई जा सकती है। तेजस 5,300 किलोग्राम तक के विभिन्न हथियार ले जा सकता है।
तेजस की पहली उड़ान 2001 में हुई थी और इसे 2015 में भारतीय वायुसेना में शामिल किया गया। इसका पहला स्क्वाड्रन 2016 में तमिलनाडु के सुलूर एयरबेस पर स्थापित किया गया, जिसे “फ्लाइंग डैगर्स” के नाम से जाना जाता है। इसके बाद 2020 में “फ्लाइंग बुलेट्स” नामक दूसरा स्क्वाड्रन भी सुलूर में स्थापित किया गया।
रूस का घातक लड़ाकू विमान Su-57 भी एयरो इंडिया में
इस बार रूस भी अपने सबसे घातक लड़ाकू विमान सुखोई Su-57 को इस शो में प्रदर्शित करेगा। Su-57 को पांचवीं पीढ़ी का सबसे आधुनिक लड़ाकू विमान माना जाता है और यह दुश्मन के राडार से बचने में सक्षम है। रूस के इस कदम को भारत के साथ रक्षा सहयोग को और मजबूत करने के रूप में देखा जा रहा है।